चुटकला जो टीचर को टीचिंग सीखा दे (Joke That Can Teach The Teachers)

चुटकला जो teacher को teaching सीखा दे, ऐसा भी क्या कोई चुटकला हो सकता है, यही सोचेंगे न आप कि teacher को कौन सिखाएगा। लेकिन पहले आप चुटकला पढ़िए और उसके बाद आगे पढ़िए कि चुटकला सिर्फ चुटकला न होकर एक प्रेरणादायक हिंदी कहानी (Hindi Inspirational Story) भी है।

चुटकला (Joke)

Physics के teacher बच्चो को पढ़ाते हुए कहते है ,” न्यूटन पेड़ के नीचे बैठे हुए थे , तभी पेड़ से एक सेब गिरा ,तब उन्होंने गुरुत्वाकर्षण (gravity) की खोज करी।

एक बच्चा बोला , “जी Sir ,यदि वह भी class में बैठकर किताबें पढ़ रहे होते तो कुछ न खोज पाते।”

हाहाहा……… बच्चे ने teacher को कैसा जवाब दिया। वैसे joke में ही यह बात सही लगती है ,लेकिन ऐसा बोलना नहीं चाहिए किसी को भी अपने अध्यापक के साथ। क्योंकि शिक्षक गुरु होता है और गुरु ही ज्ञान देता है। इस चुटकले का यह मतलब न निकाले की यह किसी भी असभ्य बोलने के लिए प्रेरित करता है।



यह भी पढ़े : एक चुटकला जो जिंदगी जीना सीखा दे (One Inspirational Joke)

अब वैसे चुटकला तो मज़ेदार है ,इसमें तो कोई संदेह नहीं क्योंकि हम सभी स्कूल में पढ़े ही होते है ,तो कोई-न-कोई ऐसा ही शरारती बच्चा हर एक क्लास होता ही है जो teacher को tease करता रहता है।

पर इस tease करने को भी अगर थोड़ा गंभीरता (seriously) से सोचा जाए तो यह भी बहुत कुछ सीखा दे।

शिक्षा (Moral Of The Joke)

वैसे तो हर एक teacher के पढ़ाने का भी अपना ही एक अलग style होता है ,लेकिन फिर भी कुछ teacher कहीं-कहीं बच्चो की बातें समझ नहीं कि उन्हें कैसे समझ आएगा या फिर यूं कहें कि Mind को attract करने वाली चीजों के बारे में कम ही जानते होते है।

अब बात आती है इस चुटकले पर जोकि Joke होने के साथ-साथ Inspirational Joke भी है। एक ऐसा चुटकला जो कुछ सीखा दे।



यह भी पढ़े : ईश्वर से मुलाक़ात (Met With God)

Student का जवाब था कि अगर न्यूटन class के अंदर होते तो शायद वो भी यह खोज न कर पाते। अगर हम इस बार को इसकी गहराई से सोचे तो कुछ हद तक शायद यह बात सही भी है , क्लास में होता क्या है ,Math का period ,Hindi का Period , Science का Period , इतिहास का period ,वगैरह वगैरह। इसमें अधिकतर अध्यापक वही पढ़ाते है, जो किताब में लिखा हो , कई-कई तो ऐसे भी होते है कि किताब का लिखा भी सारा नहीं पढ़ाते और कह देते है कि यह आपके syllabus में नहीं है। कई बार अगर student कोई अपनी problem लेकर आ जाए और sir/madam से पूछे तो वो जवाब देने के बजाए उसे ही बोलने लग जाते है कि पढ़ाई में ध्यान है नहीं ,फिजूल की बातों में ध्यान देते रहते हो।

अगर कोई शिक्षक ही ऐसे कहेगा तो फिर तो जो ऊपर चुटकला लिखा है वह बिलकुल ही सही है। ऐसे तो अगर न्यूटन को ऐसा teacher होता तो उसके टीचर ने कहना था ,ऊपर से गिरा है ,निचे ही गिरेगा ,तुम क्यों बे-मतलब की बातें कर रहे हो। अपना Homework तो करना है नहीं और ऐसी बातें जितनी करालो उतनी थोड़ी है। अपने Syllabus पर ध्यान दो ,नहीं तुम्हारी मम्मी को शिकायत लगा दूँगी।

जरा सोचिये ,थोड़ी हँसी तो जरूर आएगी लेकिन सच्चाई तो यही होनी थी। अब अगर बच्चा ऐसी क्लास में पढ़ेगा फिर तो न्यूटन भी ऐसी खोज न कर पाते।



यह भी पढ़े : जीवन में हमेशा सतर्क रहे (Always Be Careful In Life)

इस Post का यह मतलब बिलकुल भी नहीं है कि बच्चों को पढ़ना-लिखना नहीं चाहिए और हमेशा फिजूल की बातें करते रहना चाहिए ,बल्कि इस Post का मतलब यह समझाना है कि किताबें ही सब कुछ नहीं होती। पास होने के लिए पढ़ना कोई मुश्किल काम नहीं है ,अगर कोई बच्चा स्कूल जाता है और उसके माता-पिता उसपर थोड़ा भी ध्यान देते है ,तो वह पास तो हो ही जाएगा। लेकिन बात यह है कि बच्चो को सिर्फ पढ़ना ही नहीं है। सीखना यह कि क्या और कैसे क्या होता है?

अच्छे अध्यापक के गुण

अगर कोई भी student कभी-भी अपने teacher से subject के इलावा भी कुछ पूछता है तो उस student की बात का अगर जवाब नहीं मालुम तो उसे demotivate नहीं करना चाहिए। सभी teacher एक-न-एक दिन student ही थे ,उन्हें याद रखना चाहिए कि जब वह पढ़ते थे ,अगर वह कुछ पूछते थे अपने किसी teacher से अगर उन्हें भी आगे से उल्ट-पटांग का जवाब मिला होता तो उन्हें कैसा लगता।

गुरु तो शिष्य को ज्ञान देकर अज्ञान और अहंकार का हरण करता है । मगर अगर कोई गुरु motivate करने के बजाए demotivate करे या सही को भी गलत बताये तो फिर यह तो गलत बात है ।



यह भी पढ़े : महान शिक्षक डॉक्टर सर्वेपल्ली राधाकृष्णन (Dr. Sarvepalli Radhakrishnan Biography In Hindi)

शिक्षक तो अपने विद्यार्थी को सही तरह से समझना चाहिए ,चाहे सभी में एक ही दिमाग है लेकिन हर एक का दिमाग कुछ अलग ही ढंग से काम करता है और जिनका दिमाग थोड़ा हटकर होता है अक्सर वही इतिहास के पन्नो में कुछ हटकर कर जाते है ।

कोई भी विद्यार्थी अगर subject से unrelated topic भी पूछे तो किसी भी शिक्षक को गुस्सा करने के बजाए उसे समझाना चाहिए ,आखिर जब वही student बड़ा होकर Life में एक successful businessman बनेगा तो teacher को भी वह याद रखेगे कि इन्होंने ही मुझे इतना समझाया था जिस कारण मैं आज इस मुकाम तक पहुँच सका।

अच्छे विद्यार्थी के गुण

कुछ विद्यार्थी भी ऐसे होते है जो हर पल किसी-न-किसी teacher को परेशान (tease) करने का सोचते रहते है ,उन्हें भी ऐसा नहीं करना चाहिए क्योंकि अध्यापक ही होता है जो बच्चो को एक सफल इंसान बनने के लिए प्रेरित करता है।

Students को एक और बात याद रखनी चाहिए कि उनके टीचर भी एक आम इंसान ही है ,वो पढ़े-लिखे जरूर है लेकिन ऐसा दुनिया में कोई भी नहीं की जो सब कुछ जानता हो। अगर कोई सब कुछ जानने वाला होगा भी तो वह दुनियादारी से दूर ही रहता है क्योंकि सब कुछ जानने का एक ही रास्ता है, वह है सबसे पहले सब कुछ भूल जाओ , जब इंसान सब कुछ भूल जाता है ,तभी वह दुनिया की हर एक वस्तु का ज्ञान प्राप्त कर पाता है (Knowledge about all the things in the world ) ।

यह भी पढ़े : ज्ञान की खोज (Searching Of Knowledge)

Students को यह भी समझना चाहिए कि उनके अध्यापक भी एक इंसान ही है और वो भी सारा कुछ नहीं जानते होते, अगर वह अपने अध्यापक से कुछ पूछे और उन्हें न मालुम हो तो इसका यह अर्थ नहीं कि उन्हें ज्ञान (knowledge) नहीं है। क्योंकि हर एक चीज का ज्ञान किसी को भी नहीं हो सकता।

एक बात जो आज के Technical Era में पढ़ रहे students के लिए सबसे उपयोगी है, वह यह कि आज इन्टरनेट (internet) के माध्यम से आसानी से किसी भी subject की जानकारी प्राप्त कर सकते है और तो और अब सिर्फ एक-आध विषय में ही नहीं बल्कि कई विषयों में महारत हासिल कर सकते है जोकि आपके अध्यापकों के वक्त यह मौजूद न था।

यह भी पढ़े : कबीरा अहंकार मत कर (Kabira Ahankaar Mat Kar)

तो अंत में सिर्फ इतना ही कहना चाहूंगा कि हर एक अध्यापक अपने विद्यार्थियों को दिल से पढाये और अगर वह कुछ अलग भी पूछता है तो उन्हें वह भी समझाये क्योंकि शिक्षक का काम ही शिक्षा देना है और उसे में उन्हें आनंद आना चाहिए।

विद्यार्थी भी अपनी limits को समझे और शिक्षकों को अत्यधिक परेशान मत किया करे । हाँ थोड़ा-बहुत तो कर ही सकते है ☺ क्योंकि आपके अध्यापकों ने भी अपने समय में अपने शिक्षकों को तंग किया ही होगा तो उन्हें भी एहसास को थोड़ा तो, लेकिन ज्यादा तंग मत करना☺।

तो दोस्तों आपको चुटकला जो टीचर को टीचिंग सीखा दे (Joke That Can Teach The Teachers) यह article कैसा लगा, अपने
comment के माध्यम से हमें जरूर बतायें।
Note: इस article का मकसद किसी की भी भावनाओं को ठेस पहुँचाना नहीं है, बहुत से अध्यापक होते है जो बच्चो को बहुत ही अच्छे ढंग से पढ़ाते है लेकिन कुछ अध्यापक ऐसे नहीं भी होते, वह कभी-कभी बच्चो के साथ ऐसा कर ही जाते है जैसा कि ऊपर कहा गया है। यह article सिर्फ उन शिक्षकों और विद्यार्थियों को ही सीधे तौर पर है जो ऐसे होते है और सभी के लिए एक Joke भी है और एक सिखाने समझाने वाला आर्टिकल भी।
दोस्तों अगर आप भी अपने किसी भी अच्छे या बुरे teacher के बारे में बताना चाहते है तो comment करना मत भूले।

अगर आपको यह article पसन्द आया तो अपने दोस्तों खासतौर से Teachers के साथ share न भूले☺।

Google Plus Page पर भी Follow करें