कैसी यह दुनिया है और
कैसी है इसकी चाल ?
ईश्वर आज तक एक भी
इंसान को न बदल सका,
लेकिन न जाने आज तक इंसान
ने कितने ही ईश्वर बदल लिए?
यानी कि मनुष्य इतना बेईमान हो गया है कि ईश्वर भी उसे नहीं बदल सका।
लेकिन मनुष्य ने अपनी इसी बेईमानी और खुदगर्जी में ना जाने आज तक कितनी ही बार ईश्वर को बदल दिया है मतलब कि कभी वह किस की पूजा करता है ,और कभी किसकी? इंसान भगवान पर भरोसा ही नही रखता, अगर कोई मन्नत न पूरी हो पाए तो अपने भगवान को ही बदल देता है और किसी अन्य में आस्था रखने लग जाता है।
सोचने से कुछ न होगा… करने से होगा Daily Motivation in Hindi दोस्तों, जब…
Article on Procrastination in Hindi दोस्तों आज मैं इस साइट पर एक Daily Motivational…
Money Management Series #1 – in Hindi आपने बचपन से लेकर अभी तक Time…
साहित्य को समाज का दर्पण कहा जाता है और इसके निर्माण में कुशल और प्रभावी…
भारत की वो बेटी जिसने पूरे विश्व में भारत का नाम ऊंचा किया, न केवल…
हमारे मनुष्य जीवन में भक्ति से बड़ा कोई कार्य नहीं। सभी मनुष्य की भक्ति में…